गोरखपुर, 09 दिसम्बर 2024
सत्तर वर्ष से अधिक आयु के बुजुर्गों के लिए पांच लाख तक के स्वास्थ्य बीमा संबंधित वय वंदन आयुष्मान कार्ड को लाभार्थी खुद या उनके परिजन आयुष्मान एप और आयुष्मान भारत योजना की वेबसाइट पर जाकर जेनरेट कर सकते हैं। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ आशुतोष कुमार दूबे ने बताया कि यह कार्ड बनवाने के लिए किसी भी बुजुर्ग को किसी दफ्तर में भटकने की जरूरत नहीं है। उनकी सुविधा के लिए आयुष्मान भारत योजना से सम्बद्ध अस्पतालों पर भी आरोग्य मित्र के पास कार्ड बनवाने की व्यवस्था उपलब्ध है। प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सोमवार को इस योजना के लाभार्थियों से संवाद करेंगे और कार्ड वितरित करेंगे। जिले में आठ हजार से अधिक लाभार्थियों का यह कार्ड बनाया जा चुका है।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने सीएम के सोमवार के प्रस्तावित कार्यक्रम की तैयारियों को लेकर रविवार को अपने दफ्तर में वर्चुअल बैठक के दौरान अहम निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि शहरी क्षेत्र के सभी लाभार्थियों को उनकी सुविधा और सुरक्षा का ध्यान रखते हुए महंत दिग्विजयनाथ पार्क स्थित कार्यक्रम स्थल तक लाना है। वहां स्वास्थ्य जनजागरूकता संबंधी स्टॉल भी लगाए जाएंगे। उन्होंने बताया कि कार्यक्रम में करीब पांच हजार लाभार्थियों के जुटने की उम्मीद है। जिला प्रशासन के दिशा निर्देशन में कार्यक्रम को अंतिम रूप दिया जा रहा है।
योजना के बारे में डॉ दूबे ने बताया कि आयुष्मान भारत योजना का लाभार्थी देश के किसी भी कोने में सम्बद्ध अस्पताल पर सरकारी खर्चे से अपना इलाज करवा सकता है। एक लाभार्थी परिवार को एक वर्ष में पांच लाख तक के इलाज की सुविधा मिलती है। सत्तर वर्ष से अधिक आयु के बुजुर्गों को वय वंदन आयुष्मान कार्ड के जरिये पांच लाख रुपये तक के अतिरिक्त इलाज का पैकेज मिलेगा। मसलन, अगर कोई परिवार पहले से आयुष्मान भारत योजना से आच्छादित है तो उसके बाकी सदस्यों को पांच लाख तक के इलाज की सुविधा अलग, जबकि सत्तर वर्ष से अधिक आयु के बुजुर्गों को पांच लाख तक के इलाज की सुविधा अलग मिलेगी। जो परिवार आयुष्मान भारत योजना से आच्छादित नहीं हैं, उनके भी सभी सत्तर वर्ष से अधिक के बुजुर्ग सदस्यों को इस योजना के तहत पांच लाख तक के इलाज की सुविधा मिलेगी। वय वंदन आयुष्मान कार्ड के लाभार्थियों के नाम जोड़ने की सुविधा लाभार्थी को भी प्राप्त है।
सीएमओ ने यह भी स्पष्ट किया कि अगर एक परिवार में सत्तर वर्ष से अधिक उम्र के दो बुजुर्ग हैं तो दोनों बुजुर्गों को कुल पांच लाख तक के इलाज की सुविधा मिलेगी। अगर सिर्फ एक बुजुर्ग हैं तो अकेले ही उन्हें यह सुविधा प्राप्त होगी।
ऐसे जोड़ सकते हैं नाम
सीएमओ ने बताया कि साइट या एप पर जाकर लाभार्थी के मोबाइल लिंक्ड आधार कार्ड का नंबर डालना है। इसके बाद मोबाइल पर आए ओटीपी को फीड करेंगे और फिर पूछे गये विवरण भर कर कार्ड जेनरेट कर सकते हैं।
जन्म के वर्ष से ही चल जाएगा काम
सीएमओ डॉ दूबे ने बताया कि अगर किसी लाभार्थी के आधार कार्ड पर सिर्फ जन्म का वर्ष है और तिथि नहीं है, तब भी यह कार्ड जेनरेट हो जाएगा। उसके जन्म का वर्ष फीड करने पर उसकी जन्मतिथि एक जनवरी से मानते हुए कार्ड जेनरेट होगा। उन्होंने कहा कि यह योजना धर्म, जाति, आय, लिंग आदि किसी भी प्रकार के भेदभाव से रहित सत्तर वर्ष से अधिक आयु के सभी बुजुर्गों को इलाज की सुविधा प्रदान कर रही है।